खूबसूरती की तारीफ शायरी 4 लाइन | tarif shayari
तेरी तारीफ में ये जुबान कभी थकती नहीं,
तेरी नजरों से ये नजरें अब हटती नहीं.
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किसी व्यक्ति की तारीफ में शायरी
अभी इस तरफ ना निगाहें कर,
मैं गज़ल की पलकें संवार लू,
मेरा लफ्ज लफ्ज हो आईना ,
तुझे आईने में उतार लू ।
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नींद से क्या शिकवा जो आती नही रात भर,
कसूर तो उस चहरे का है जो सोने नही देता।
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बड़ी फुर्सत से बनाया है तेरे खुदा ने तुझे,
वरना सूरत तेरी इस कदर ना चाँद से मिलती.
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खूबसूरती की तारीफ पर कविता
चाँद की चमक भी फीकी लगती हैं,
तू परियों से ज्यादा खूबसूरत दिखती है.
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Na kar parda apne husn par, iska koi nahin hai fayda
Kon rehta hai hosh mein, husn e didaar ke baad
न कर पर्दा अपने हुस्न पर, इसका कोई नहीं है फायदा
कौन रहता है होश में, हुस्न ए दीदार के बाद
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स्त्री की सुंदरता पर शायरी
Husn jab nahaata hai sarowar mein, to chaand bhi paani mein utar jaata hai
Khud to sheetal ho jaata hai par paani mein aag lga jaata hai
हुस्न जब नहाता है सरोवर में, तो चाँद भी पानी में उतर जाता है
खुद तो शीतल हो जाता है पर पानी में आग लगा जाता है
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Ye aaine kya denge tujhe tere husn ki khabar
Meri aankhon se to pooch kar dekh kitni haseen hai tu
ये आईने क्या देंगे तुझे तेरे हुस्न की खबर
मेरी आँखों से तो पूछ कर देख कितनी हसीन है तू
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सुंदरता की तारीफ के लिए शब्द
usne esi maari nazar ke mere hosh udd gye
dekh kar uska husn us se kuch naate jud gye
ab rehna uske bina dushwaar sa lagta hai
mujhe bhi ho gya uske sath pyaar sa lagta hai
उसने ऐसी मारी नज़र के मेरे होश उड़ गए
देख कर उसका हुस्न उस से कुछ नाते जुड़ गए
अब रहना उसके बिना दुश्वार सा लगता है
मुझे भी हो गया उसके साथ प्यार सा लगता है
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Tere husn ki aag mein kahin jal naa jau
Kar mohabbat tu mujhse jra dheere dheere
तेरे हुस्न की आग में कहीं जल ना जाऊ
कर मोहब्बत तू मुझसे जरा धीरे धीरे
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खूबसूरती की तारीफ शायरी २ लाइन
Tumhaare hi husn ka noor hai hamaare aks par
Warna kon pasand karta hum jese shakhs ko
तुम्हारे ही हुस्न का नूर है हमारे अक्स पर
वरना कौन पसंद करता हम जैसे शख्स को
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Ab kese uthegi aankh hmaari kisi or ki taraf
Uske husn ki ek jhalak humein paaband bna gyi
अब कैसे उठेगी आँख हमारी किसी और की तरफ
उसके हुस्न की एक झलक हमें पाबन्द बना गयी
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Photo Ki Tareef Shayari In Hindi
Staate hain humein to husn ke maalik
Auron se to hum nazar bhi nahin milaate
सताते हैं हमें तो हुस्न के मालिक
औरों से तो हम नज़र भी नहीं मिलाते
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Husn ne kayi barbaad kie, bhagwaan tu kahin ishq na kario, pachhtaayega
Hum to mar kar tere paas aa jaayenge, par tu kahaan jaayega
हुस्न ने कई बर्बाद किए, भगवान् तू कहीं इश्क़ ने करियो, पछतायेगा
हम तो मर कर तेरे पास आ जाएंगे, पर तू कहाँ जाएगा
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खूबसूरती की तारीफ पर शायरी
Husn hai tera bilkul chaand ki treh
Utna hi noor hai, utna hi door hai, utna hi guroor
हुस्न है तेरा बिलकुल चाँद की तरह
उतना ही नूर है, उतना ही दूर है, उतना ही ग़ुरूर
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तेरी खूबसूरती की तारीफ़ में क्या लिखूं,
कुछ खूबसूरत शब्दों की अभी तलाश है मुझे.
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पता है क्यो हर शाम , चाँद आधा आता हैं ,
क्योंकि वो भी तेरी खूबसूरती को देख कर शर्माता हैं ।
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खूबसूरती की तारीफ स्टेटस
इस डर से कभी गौर से देखा नहीं तुझको,
कहते हैं कि लग जाती है अपनों की नज़र भी।
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तेरी आँखों के जादू से तू खुद नही हैं वाकिफ,
ये उसे भी जीना सीखा देता जिसे मरने का शौक हो
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कौन कहता है कि आपकी तस्वीर बात नहीं करती…!!!
हर सवाल का जवाब देती है बस आवाज़ नहीं करती…!!
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आसमां में खलबली है सब यही पूछ रहे हैं,
कौन फिरता है ज़मीं पे चाँद सा चेहरा लिए।
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वो घर से बन संवर कर, जब कभी निकलते है
उनसे रौशनी लेकर सौ चिराग जलते है.
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मेरी निगाहें बार-बार आकर रुक जाती है,
उसके हुस्न-ए-दीदार से ना जाने क्यों ये थम जाती है.
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दिल से कुछ लिखना चाहते हैं उनकी तारीफ में,
मगर लफ़्ज हैं कि फीके पड़ जाते हैं आज की तारीख में.
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